हमारो तो धन श्री राधा श्री राधा श्री राधा,,,, देवी चित्रलेखा
सृष्टि को चलाने वाले पालनहार भगवान विष्णु के तो कई अवतार हुए हैं उनमें से एक अवतार भगवान श्री कृष्ण का है पर हर अवतार में अलग-अलग रूप में उनके साथ श्री राधा रहती हैं देशभर में कृष्ण जन्म उत्सव तो मनाया गया पर आज बृज से लेकर बरसाना तक और देश के अन्य शहरों में राधा प्रकटत्य उत्सव मनाया जा रहा है
इसी अवसर पर वृंदावन से प्रसिद्ध है।
कथावाचक देवी चित्रलेखा जी के द्वारा प्रकाश होजियरी कश्यप कॉलोनी में सत्संग की अमृत धारा बही सत्संग की शुरुआत श्री राधा भगवान व श्री कृष्ण जी के मूर्ति पर फूल अर्पण कर दीप प्रज्वलित करके की गई सत्संग में देवी चित्रलेखा जी के द्वारा अपनी अमृतवाणी में मोती भरे शब्दों में श्री राधा के जीवन से लेकर अंत तक कई सत्संग सुनाएं जैसे लोगों को लगता है कि श्री राधा का अवतरण "बरसाना में हुआ है पर यह हकीकत नहीं है पहली बात तो राधा का जन्म नहीं हुआ है उनका अवतरण हुआ है गोकुल के पास एक गांव है रावलपुर राधा रानी का अवतरण "यही हुआ है एक दिन भोर के समय जब विश्राम जी यमुना जी के किनारे पहुंचे तो कमल के फूल में एक छोटी सी लाली लेती हुई थी और कमल का फूल आगे आ रहा था तब उस विश्राम जी ने उस कमल के फूल से छोटी सी लाली को उठाया और सोचा मुझे एक पुत्र है पुत्री नहीं है चलो एक पुत्री भी आज मिल गई प्रभु की कृपा से तबसे उनका नाम श्री राधा पड़ा वक्त बिता गया कंस का अत्याचार बढ़े तो विश्राम जी ने नया गांव बसाया विश्रामपुर कहा गया आगे चलकर बरसाना हो गया भगवान श्री कृष्ण का जन्म मथुरा में हुआ वहां से रात्रि को गोकुल पहुंचे गोकुल से नंद गांव चले गए वैसे ही राधा रानी का अवतरण रवलपुर में हुआ और पली-बढ़ी बरसाने में भगवान श्री कृष्ण के "अवतरण से पूर्व सभी देवी देवता श्री राधा के पास पहुंचे इसलिए आप भी इस पृथ्वी पर अवतरण लीजिए ताकि प्रभु भी इस पृथ्वी पर अवतरण ले और पापियों का संघार करें श्री कृष्ण के बाद श्री राधा रानी ने भी पृथ्वी में अवतार लिया और वह अकेली नहीं आई बल्कि सखियों के संग लेकर पहुंची अगर आपको भगवान श्री कृष्ण का प्यार चाहिए तो आपको राधा से प्रेम करना होगा राधा नाम की माला का नाम जपना होगा तभी आपको प्रभु श्री कृष्ण का भी प्यार मिलेगा
राधा नाम की महिमा अनंत है मुख से कहीं ना जाए तन मन धन अर पी के चरण रहू समाए
राधा नाम की जितनी महिमा की जाए कम है कई सारे प्रसंग हैं कई सारे कथाएं हैं सारांश एक यही है कि अगर आपको कृष्णा का स्वरूप देखना है कृष्ण को पाना है तो राधा से प्रेम करना होगा प्रेम किसे कहते हैं वह सीखना है तो राधा से सीखो सत्संग में कई राधा कृष्ण के प्रसंग सुनाएं जिसे लोग सुनकर भाव विभोर हो गए
वह अपनी अमृतवाणी में कई भक्ति भरे भजन भजन गाए जिसे सुनकर भक्तजन झूम उठे
राधे-राधे जपना तो होगा निहाल कहीं ना कहीं मिलेंगे गोपाल
राधा नाम की महिमा है बड़ी इसमें समय है दुनिया पूरी
श्याम की राधा बोलो कृष्ण की राधा
एक कोर कृपा कर दो श्री राधे
ऐसे कई अन्य भक्ति भरे भजन गए कार्यक्रम के आखिर में राधा रानी व कृष्ण की आरती की गई माखन का भोग लगाया गया प्रसाद वितरण किया गया बाबा आनंद राम सेवा समिति के सभी सदस्यों के द्वारा एकादशी वाले बलराम भैया जी के द्वारा देवी चित्रलेखा का स्वागत व सम्मान किया गया एवं आशीर्वाद लिया गया आज के इस आयोजन को सफल बनाने में बाबा आनंद राम सेवा समिति बिलासपुर चकरभाटा के सभी सेवादारों का विशेष सहयोग रहा।
श्री विजय दुसेजा जी की खबर