छत्तीसगढ़ को महाराष्ट्र से जोड़ने के लिए कांकेर के भानुप्रतापपुर से गढ़चिरौली तक रेललाइन बिछाकर ट्रेन चलाने केंद्र शासन ने दी सहमति

छत्तीसगढ़ को महाराष्ट्र से जोड़ने के लिए कांकेर के भानुप्रतापपुर से गढ़चिरौली तक रेललाइन बिछाकर ट्रेन चलाने केंद्र शासन ने दी सहमति

छत्तीसगढ़ को महाराष्ट्र से जोड़ने के लिए कांकेर के भानुप्रतापपुर से गढ़चिरौली तक रेललाइन बिछाकर ट्रेन चलाने केंद्र शासन ने दी सहमति

छत्तीसगढ़ को महाराष्ट्र से जोड़ने के लिए कांकेर के भानुप्रतापपुर से गढ़चिरौली तक रेललाइन बिछाकर ट्रेन चलाने केंद्र शासन ने दी सहमति 


छत्तीसगढ़ को महाराष्ट्र से जोड़ने के लिए कांकेर के भानुप्रतापपुर से गढ़चिरौली तक रेललाइन बिछाकर ट्रेन चलाने केंद्र शासन ने सहमति दे दी है। कांकेर सांसद मोहन मंडावी की अनुशंसा के बाद रेल मंत्री की सहमति मिल चुकी है। जिसके बाद केंद्रीय बजट में इस प्रोजेक्ट को शामिल कर लिया गया है। लगभग 337 करोड़ रुपए खर्च होने का अनुमान है। इसके पहले थ्री-डी ड्रोन कैमरे से सर्वे होगा। प्रोजेक्ट के तहत काम पूरा होने के बाद जिलेवासियों को भी सुविधाएं मिलेगी। दरअसल वर्तमान में एनएच 930 प्रोजेक्ट के तहत सड़क चौड़ीकरण कार्य चल रहा है। इस एनएच के माध्यम से छत्तीसगढ़ व महाराष्ट्र जुड़ेगा।

अब एनएच रूट के अलावा महाराष्ट्र जाने के लिए लोगों के लिए दूसरा विकल्प ट्रेन रहेगा। हालांकि कब तक काम पूरा होगा, इसको लेकर डेडलाइन तय नहीं की गई है। लेकिन यह स्पष्ट हो चुका है कि भविष्य में कांकेर जिले के भानुप्रतापपुर से महाराष्ट्र के गढ़चिरौली तक चलने वाली ट्रेन में हमारे जिले के लोग सफर कर सकेंगे। वजह यह है कि रोजाना रायपुर से अंतागढ़ तक ट्रेन चल रही है। इसी रेलवे रूट में भानुप्रतापपुर है, इसके अलावा रावघाट रेल परियोजना के तहत 500 करोड़ से रावघाट से जगदलपुर तक रेललाइन बिछाने केंद्र शासन ने सहमति दी है। जिसकी पुष्टि लोकसभा कांकेर के सांसद मोहन मंडावी ने की है।

भानुप्रतापपुर को गढ़चिरौली से जोड़ने दो विकल्प

भानुप्रतापपुर को गढ़चिरौली से जोड़ने रेल लाइन बिछाने के लिए रेलवे मंत्रालय के पास दो विकल्प हैं। पहला विकल्प मानपुर, धनोरा होते गढ़चिरौली है। इस मार्ग में 50 किमी दूरी तय करने के बाद रेल लाइन कांकेर जिले की सीमा से बाहर हो जाएगी। इस मार्ग से जिले व प्रदेश के अन्य जिले के लोगों को कोई खास लाभ नहीं होगा।

दूसरे विकल्प के रूप में दुर्गूकोंदल, बड़गांव, कापसी, पखांजूर होते पेंड्री व गढ़चिरौली मार्ग है। इस मार्ग से रेल लाइन ले जाने पर जिले के कई गांव को इसका लाभ मिलेगा। इस मार्ग में यात्रियों की संख्या भी ज्यादा होगी और रेलवे की कमाई भी होगी। जनप्रतिनिधि इसी रूट को बेहतर मान रहे है। दरअसल इस रूट में ट्रेन चलने से दुर्गकोंदल, बड़गांव, कापसी, पखांजूर के आसपास के पूरे गांव व बांदे क्षेत्र के लोगों को लाभ मिलेगा। परलकोट क्षेत्र के लोगों को रेल सुविधा के लिए 63 किमी दूर केंवटी तक जाना पड़ रहा है।

भौगोलिक स्थिति का पता लगाने किया जाएगा सर्वे
भानुप्रतापपुर से गढ़चिरौली के बीच जिस रूट पर रेललाइन बिछना प्रस्तावित है। वहां थ्री-डी ड्रोन कैमरे से सर्वे किया जाएगा। रेल मंत्रालय से सर्वे कार्य के लिए बजट में 3 करोड़ रुपए की स्वीकृति दी जा चुकी है। इस सर्वे कार्य में रेलवे को जिस मार्ग में रेल पटरी बिछानी है, वहां की सही भौगोलिक स्थिति की जानकारी मिलेगी। सर्वे के दौरान नई रेलवे लाइन विस्तार में होने वाले खर्च आदि का आंकलन किया जाएगा।


Ads Atas Artikel

Ads Atas Artikel 1

Ads Center 2

Ads Center 3