बी एस पी प्रबंधन द्वारा भर्ती प्रक्रिया में हुए भ्रष्टाचार को छुपाने आर टी आई कानून की उड़ा रहे धज्जियां मनोज दुबे
सेल के जीरो टॉलरेंस का उड़ा रहे माखौल
भिलाई इस्पात प्रबंधन द्वारा राजहरा मेकेनाइज्ड माइंस में पंप संचालन व मेंटेनेंस का कार्य करने RFX नंबर 800037683 के माध्यम से operation and maintenance of pumps &other installations at RMM कार्य हेतु निविदा आमंत्रित की गई थी। उक्त कार्य हेतु निविदा के विशेष शर्तो (special tender condition) के अनुसार पूर्व में कार्यरत ठेका श्रमिको के अतिरिक्त तकनीकी शिक्षा प्राप्त (आईटीआई) ०५ नये कुशल श्रमिकों को नियोजित करने का विशेष प्रावधान रखा गया है।
किन्तु ठेकेदार और बीएसपी माइंस प्रबंधन के कुछ अधिकारी व कर्मचारी ने आपसी साठ गांठ करके व निविदा शर्तो को ताक पर रखकर तकनीकी शिक्षा प्राप्त (आईटीआई पास) ०५ नये कुशल श्रमिकों को नियोजित करने के स्थान पर अपने चहेते अकुशल श्रमिकों को इस कार्य पर नियोजित कर लिया गया है जिसमें से एक श्रमिको छत्तीसगढ़ के बाहर प्रांत का निवासी है।
इस प्रकार ठेकेदार, बीएसपी राजहरा माइंस प्रबंधन के कुछ अधिकारी व कर्मचारी आपसी मिलिभगत करके उक्त ०५ अपात्र श्रमिकों का माइंस सुरक्षा प्रशिक्षण करवा कर व उनका गेट पास जारी कर अपात्र श्रमिकों को को कार्य पर रखकर उनसे कार्य करवाया जा रहा है| जबकि निविदा शर्तो के जिन ०५ नये श्रमिकों को नियोजित किया जाना है, निविदा शर्तो अनुसार उनका तकनीकी शिक्षा प्राप्त आईटीआई पास कुशल श्रमिक होना अनिवार्य है ऐसा न होने पर उनको कार्य पर नियोजित नही किया जा सकता व ठेका शर्तो के अनुसार आईटीआई प्रमाण पत्र न होने की स्थिति में उन पांचो नये श्रमिकों का माइंस सुरक्षा प्रशिक्षण नही दिया जा सकता व ठेकेदार द्वारा निविदा शर्तो के उल्लंघन करने हेतु उस पर ठेका शर्तो के अनुसार पेनाल्टी लिया जाना चाहिए ।
राजहरा माइंस प्रबंधन द्वारा इस प्रकार किये जा रहे भ्रष्ट आचरण की शिकायत हमारे द्वारा दिनांक 15/04/24 को बी एस पी प्रबंधक के उच्च अधिकारियों से की गई थी फिर भी इसे रोकने व नियम अनुसार भर्ती लिये जाने हेतु किसी प्रकार की कोई भी कार्यवाही नही की गई।
इस गंभीर विषय पर बीएसपी के जी एम राजहरा माइंस द्वारा कुछ बहु प्रचलित अखबारो को दिए अपने बहुत ही सतही कथन में कहा गया की हमारे द्वारा पंप चालको की भर्ती में नए कर्मी आई टी आई पास है इसमें सभी लोकल लोगो को कम पर रखा गया है इसमें किसी भी प्रकार की कोई भी गड़बड़ी का सवाल ही नहीं है बाकी लोकतंत्र है कोई भी आरोप प्रत्यारोप लगा सकता है। जो
जीएम राजहरा माइंस केकथन की वास्तविकता को जानने हेतु हमारे द्वारा दिनांक 20/04/24 को इस निविदा कार्य से संबंधित सभी दस्तावेज प्रदान करने के लिए सूचना के अधिकार के अंतर्गत आवेदन लगाया गया ताकि वास्तविकता को सब के समक्ष लाया जा सके और बताया जा सके की बीएसपी प्रबंधन के अधिकारी कैसे अपने निहित स्वार्थों की पूर्ति के लिए कैसे अपने ही बनाये निविदा शर्तो का उल्लंघन करते है।
किन्तु ३० दिनो की समय सिमा बित जाने के बाद भी भिलाई इस्पात संयंत्र के जन सूचना अधिकारी द्वारा अभी तक हमें जानकारी उपलब्ध नही करवायी गई है इसी से पता चलता है की खेल कितना बड़ा खेला जा रहा है। किस तरह योग्य व्यक्तियों का हक मारकर अयोग्य लोगो को उपकृत किया जा रहा है।
वही बीएसपी राजहरा माइंस प्रबंधन के जीएम जिस प्रकार प्रबंधन को पाक साफ घोषित कर रहे है और भर्ती प्रक्रिया में किसी प्रकार का भ्रष्टाचार न होने का दावा कर रहे है तो जन सूचना अधिकार अधिनियम के तहत् हमारे द्वारा मांगी गई जानकारी को देने से प्रबंधन क्यों बच रहा है! सवाल में सारा जवाब छिपा हुआ है।
सेल द्वारा जीरो टॉलरेंस के दावे को धत्ता बनाकर भर्ती प्रक्रिया में किए भ्रष्टाचार को छुपाने सूचना के अधिकार कानून की धज्जियां उड़ा रहे बी एस पी प्रबंधन के अधिकारी इसकी शिकायत प्रधानमंत्री इस्पात मंत्री ओर छत्तीस गढ़ के मुख्यमंत्री से की जाएगी