तिल्दा नेवरा: नेवरा-तिल्दा सरस्वती शिशु मंदिर उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नेवरा में मातृ सम्मेलन का आयोजन हुआ

तिल्दा नेवरा: नेवरा-तिल्दा सरस्वती शिशु मंदिर उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नेवरा में मातृ सम्मेलन का आयोजन हुआ

तिल्दा नेवरा: नेवरा-तिल्दा सरस्वती शिशु मंदिर उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नेवरा में मातृ सम्मेलन का आयोजन हुआ

तिल्दा नेवरा: नेवरा-तिल्दा सरस्वती शिशु मंदिर उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नेवरा में मातृ सम्मेलन का आयोजन हुआ


नेवरा : तिल्दा-सरस्वती शिशु मंदिर उच्चतर माध्यमिक विद्यालय नेवरा में मातृ सम्मेलन का आयोजन हुआ। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि टंकराम वर्मा खेलकूद एवं युवा कल्याण, राजस्व एवं आपदा प्रबंधन मंत्री छत्तीसगढ़ शासन, अध्यक्षता अनिल अग्रवाल महामंत्री, भाजपा, रायपुर जिला ग्रामीण ,विशिष्ट अतिथि राजू शर्मा किसान नेता, सभापति जिला पंचायत रायपुर छत्तीसगढ़, श्रीमती सिमरन खुबचंदानी सनातन प्रेमी, गौ सेवक, श्रीमती वीणा साहू पालक समिति अध्यक्ष, एल.के. जाहिरे विकासखंड शिक्षा अधिकारी, विद्यालय समिति अध्यक्ष गोपाल चंद्र अग्रवाल, उपाध्यक्ष नरेंद्र जैन, व्यवस्थापक स्वप्निल श्रीवास्तव, सह सचिव नारायण शर्मा, कोषाध्यक्ष दिलीप वर्मा, पूर्व व्यवस्थापक दिलीप शर्मा, संरक्षक पवन अग्रवाल समिति सदस्य अजय शर्मा, रमेश वर्मा,प्राचार्य  वासुदेव साहू नेवरा विद्यालय ,प्राचार्य श्रवण कुमार साहू तिल्दा विद्यालय उपस्थित रहे। 

कार्यक्रम का शुभारंभ अतिथियों द्वारा दीप प्रज्वलंकर किया गया। विद्यालय के अध्यक्ष गोपाल चंद्र अग्रवाल ने विद्यालय का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया। मुख्य अतिथि माननीय टंकराम वर्मा ने मातृ सम्मेलन में सभी का स्वागत करते हुए कहा कि इस स्कूल के बहनों ने जो नृत्य प्रस्तुत किया, उसमें जो गीत के भाव हैं वे केवल सरस्वती शिशु मंदिर के कार्यक्रमों में ही देखने को मिलते हैं। इस विद्यालय में भैया बहनों को शिक्षा के साथ-साथ संस्कार भी दिए जाते हैं। साथ ही भैया बहन पाश्चात्य संस्कृति की ओर न जाकर सनातन संस्कृति की ओर अग्रसर होते हैं। इस विद्यालय के भैया बहन ऊंचे -ऊंचे पदों पर पहुंचते हैं। इसका कारण सिर्फ शिक्षा ही नहीं बल्कि उन्हें मिले संस्कार भी होते हैं। मंत्री जी ने कहा कि जिस प्रकार रावण अत्यंत ज्ञानी होते हुए भी संस्कार के अभाव में राम के हाथों मारा गया, उसी प्रकार आज के समय में भैया बहनों को संस्कार और अनुशासन की अत्यंत आवश्यकता है। एक मां का अपने बच्चों को बनाने व बिगड़ने में बहुत बड़ा हाथ होता है। माताएं अपने बच्चों को प्रेम तो करें किंतु उनसे मोह न करें, शिक्षा के साथ-साथ उचित संस्कार भी आवश्यक रूप से दे। मंत्री जी ने विद्यालय में प्रार्थना सेट बनाने हेतु 15 लाख रुपए की घोषणा की ।श्रीमती सिमरन खूबचंदानी ने अपने उद्बोधन में कहा कि सनातन धर्म में ऐसी मान्यताएं हैं जो वैज्ञानिक तौर पर सही है। तुलसी को वृक्ष न माने, गाय को जानवर ना माने।यह सभी भगवान के समान है। गौ रक्षा हम सभी की जिम्मेदारी है।गौ माता का हम सब पर बहुत एहसान हैं। सनातन धर्म की शिक्षा को सरस्वती शिशु मंदिर ने जिंदा रखा है। उन्होंने इस स्कूल को कोटि-कोटि प्रणाम कहा जो भैया बहनों को सनातन शिक्षा प्रदान करती है तथा उन्होंने कहा कि अपनी जिंदगी में कम से कम एक गौ माता की सेवा अवश्य करें। श्री स्वप्निल श्रीवास्तव ने अपने उद्बोधन में कहा कि मां से ही संसार बनता है। मां की नजरों में हम सभी हीरो होते हैं। उन्होंने मां के ऊपर एक कविता प्रस्तुत की । विद्यालय के प्राचार्य श्री वासुदेव साहू जी ने सभी माताओ का स्वागत करते हुए कहा कि बच्चे अपने माता-पिता का ही अनुसरण करते हैं। आप अपने बच्चों पर विशेष ध्यान दें । विद्यालय परिवार की ओर से मुख्य अतिथि श्री टंकराम वर्मा जी को स्मृति चिह्न भेंट किया गया।
इस कार्यक्रम में माताओ के लिए प्रश्न मंच, गिलास दौड़, कुर्सी दौड़ आदि खेलों का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में माताएं, विद्यालय के समस्त भैया -बहन, नगर के गणमान्य नागरिक गण उपस्थित रहे। कार्यक्रम के अंत में विद्यालय के प्रचार्य श्री वासुदेव साहू ने कार्यक्रम में आए हुए सभी अतिथि गणों, सभी माताओं, सभी भैया- बहनों, आचार्य-दीदीयो का आभार व्यक्त किया|



श्री दिलीप वर्मा जी की खबर 

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